Page 9 - संगम - चेन्नई क्षेत्रीय कार्यालय की पत्रिका
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          सगम - ततीय स�रण /  �सतबर - 2025
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                                       सबोधन
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           आधिनक समाज म भाषा हमारी अिभ��� का सश� मा�म होन क साथ-साथ हमारी आजीिवका का साधन भी ह I ऐस म          �
                                                                                                   �
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           बाज़ार म अपनी पकड़ को मज़बत बनान तथा अपना �ापक जनाधार �ािपत करन क �लए जनता की भाषा म अपना सामान
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           बचना समय की माग ह I वि�क जगत क अ� दश जब अपना सामान हमार दश म बचन क �लए भारतीय भाषाए सीख सकत         े
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           ह तो हम �ापक जन भाषा को अपन �ापार म प्रयोग �ों नहीं कर सकत I अपन काय-�ापार म िह�ी भाषा का प्रयोग न
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                                                                              े
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           �सफ हमारा कारोबार बढ़ाएगा अिपत आम जन मानस म हमारी पठ भी मज़बत करगा I आम जनता क �लए कायरत हडको
                                                         �
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           क �लए आम जनता की भाषा का प्रयोग तो और भी ज�री हो जाता ह I
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           इस प्रयास म हडको �त्रीय कायालय की पित्रका “सगम” क प्रकाशन का समाचार िनि�त �प स सराहनीय ह I पित्रका क
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           सफल प्रकाशन की अनक शभकामनाए I
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                                                                                                  ं
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                                                                                            े
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