Page 53 - संगम - चेन्नई क्षेत्रीय कार्यालय की पत्रिका
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          सगम - ततीय स�रण /  �सतबर - 2025
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                                                        �
                                       ित�मलय दशन : प्र�सद्ध तीथ�ल
                                                                                                   आर वदही
                                                                                                          ै
                                                                                                            े
                                                                                ं
                                                                                                         ं
                                                                                                      े
                                                               ित�पित बालाजी मिदर को सात पहािड़यों क मिदर -
                                                                                                 े
                                                                                             ै
                                                               स�िग�र क नाम स जाना जाता ह। य सात पहािड़या      ँ
                                                                                े
                                                                         े
                                                                   े
                                                                                                        ृ
                                                               -  शषािद्र,  नीलािद्र,  ग�ड़ािद्र,  अजनािद्र,  वषभािद्र,
                                                                                              ं
                                                                                        �
                                                                                �
                                                                                                   े
                                                               नारायणािद्र और वकटािद्र ह । श्री वकट�र (भगवान
                                                                                                �
                                                               िव� क एक अवतार) मिदर, सबस प्रमख वकटािद्र
                                                                   ु
                                                                     े
                                                                                                        �
                                                                                               े
                                                                                                   ु
                                                                                      ं
                                                               पहाड़ी पर ��त ह और इस दिनया क सबस समद्ध
                                                                                           ु
                                                                                ै
                                                                                                            ृ
                                                                                        े
                                                                                                        े
                                                                                                 े
                                                                                   े
                                                                                                    �
                                                                                 े
                                                               और सबस अिधक दख जान वाल मिदरों म माना जाता
                                                                        े
                                                                                       े
                                                                                            े
                                                                                              ं
                                                                                                    ै
                                                                ै
                                                                              े
                                                               ह। यह शहर न कवल एक धािमक �ल ह, ब�� एक
                                                                                           �
                                                                   ृ
                                                                                          �
                                                                 ं
                                                                                                  ै
                                                               सा�ितक और ऐितहा�सक कद्र भी ह, जो हर साल
                             �
                                                                                                      ं
                                                                                                        ु
                                                                                       �
                                                      �
                                                               ै
           लाखों भ�ों और पयटकों को अपनी ओर आकिषत करता ह। भ�जन ई�रीय आशीवाद, आ�ा��क सति� और
                                                         ं
                                                                 े
                                                    े
           अपनी मनोकामनाओं की पित क �लए श्री वकट�र मिदर जात ह।
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                                                 �
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                                                                      ै
                                                                                                ै
           यहा मनाया जान वाला ित�माला उ�वम, ब्रह्मो�वम को दशाता ह, जो पर�ासी महीन (तिमल कल�र का छ्ट्ठा
                                                                           ु
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           महीना, �सत�र क म� स अ�बर क म� तक) क दौरान मनाया जान वाला एक वािषक �ोहार ह।  यह �ोहार
                                                                                                  ै
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                                                                             �
           भगवान श्री वकट�र �ामी को समिपत ह और ित�माला म सबस मह�पण �ोहारों म माना जाता ह। माना जाता
                          े
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                              ु
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           ह िक ब्रह्मो�व की श�आत �य भगवान ब्रह्मा न की थी। इस दौरान दवता को प्र�क िदन अलग-अलग वाहन
            ै
                                                       े
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           (रथों) – �जारोहण, शष वाहनम, हस वाहनम, �सह वाहनम, ग�ड़ वाहनम, हनमत वाहनम, क�व� वाहनम,
                                                                                                     ृ
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                               े
           और सव भपाल वाहनम पर ल जाया जाता ह। अितम िदन चक्र �ानम और �जारोहणम क साथ यह िविध समा�
                                                 ै
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           होती ह।
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           शभ वकड एकादशी और मागाज़ी माह (तिमल कल�र का नौवा महीना, िदस�र क म� स जनवरी क म� तक)
                                                                   ँ
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           ित�मला क अ� प्रमख �ौहार ह I इस दौरान पिवत्र चक्र�ानम अन�ान िकया जाता ह, जो भ�ों को भगवान
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                                                                                                   �
           वकट�र का आशीवाद प्रा� करन और उनकी िद� ऊजा म लीन होन का अवसर प्रदान करत ह। फ़रवरी क
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                                                                                                             े
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           दौरान रथस�मी मनाया जाता ह I इस दौरान दवताओं को भ� �प स सस��त रथों पर एक भ� जलस क �प
                                                                                                    ु
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           म िनकाला जाता ह।
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                      �
           इस उ�व म भारी भीड़ उमड़ती ह। भगवान बालाजी क दशन और आशीवाद को पान क �लए भ� घटों कतार म                �
                                                           े
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           खड़ रहत ह। मिदर की प्रशासिनक �व�ा ित�पित ित�मलय दव�ानम (टीटीडी) क पास ह I दव�ानम बोड                �
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                                                                                              ै
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           िविभ� दशनों जस सप्रभातम दशन, सवदशन, िवशष प्रवश दशन, िद� दशन (पहािड़यों पर चढ़न वाल भ�ों क
                                                                                               ै
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           �लए िवशष दशन) तथा िद�ागों और व�र� नाग�रकों क �लए िवशष दशन की �व�ा करता ह, ।
                                                                                                  े
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           सभी िदनों म भगवान वकट�र की सप्रभातम की अ�जत सवा, सबह 2.30 बज की जाती ह, उसक बाद थोमाला
                                                           �
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                                                    �
           अचना और अ� सवाओं म क�ाणो�व, अ�जत ब्रह्मो�व, डोलो�व, वसतो�व और सहस्र दीपकर सवा शािमल
                                                                            ं
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